रिश्वतखोर ग्राम विकास अधिकारी निलंबित, सरकारी आवास दिलाने के नाम पर लिये थे 5 हजार रुपये, डीएम ने शिकायत के 24 घंटे में लिया एक्शन : गोण्डा
गोंडा : जिले में सरकारी आवास दिलाने के नाम पर रिश्वत लेने वाले आरोपी ग्राम विकास अधिकारी को डीएम ने सस्पेंड कर दिया है। जिलाधिकारी नेहा शर्मा ने निलंबित करते हुए अनुशासनात्मक कार्यवाही के आदेश दिए हैं। डीएम ने पीड़ित की शिकायत पर तत्काल जांच कराते हुए 24 घंटे के अंदर यह कार्यवाही की है।
पीड़ित ने आरोप लगाया था कि ग्राम विकास अधिकारी द्वारा सरकारी आवास दिलाने के नाम पर ग्रामीण से 5 हजार रुपये की रिश्वत ली गई है। इसके बाद डीएम नेहा शर्मा ने कार्रवाई की है। जिला कलेक्ट्रेट में डीएम द्वारा आयोजित जनता दर्शन में विकासखण्ड कटराबाजार के ग्राम रायपुर निवासी प्रेम नारायन ने डीएम से मिलकर मुख्यमंत्री आवास योजना (ग्रामीण) एवं प्रधानमंत्री आवास योजना (ग्रामीण) के अंतर्गत आवास उपलब्ध कराने का अनुरोध किया था। आरोप लगाया था कि ग्राम पंचायत रायपुर में तैनात तत्कालीन ग्राम पंचायत अधिकारी अनिल कुमार वर्मा ने सरकारी आवास दिलाने के नाम पर उनसे 5000 रुपये रिश्वत ली है।
डीएम ने तलब की रिपोर्ट जिलाधिकारी ने तत्काल इस पूरे मामले की जांच परियोजना निदेशक, जिला ग्राम्य विकास अभिकरण को सौंप दी और तत्काल रिपोर्ट देने के आदेश दिए थे। जांच में शिकायकर्ता प्रेम नारायण द्वारा लगाए गए सभी आरोप सही पाए गए हैं। परियोजना निदेशक, जिला ग्राम्य विकास अभिकरण चंद्र शेखर ने अपनी रिपोर्ट में भी बताया कि शिकायतकर्ता प्रेम नारायण का नाम मुख्यमंत्री आवास योजना (ग्रामीण) के अन्तर्गत दैवीय आपदा में चयनित है। सामान्य जाति वर्ग में आवास का अतिरिक्त लक्ष्य प्राप्त होने पर इनके आवास की स्वीकृति की जायेगी।
ऑडियो भी आया था सामने शिकायकर्ता द्वारा जांच टीम को तत्कालीन ग्राम विकास अधिकारी अनिल कुमार वर्मा के साथ 5 हजार रुपये की अवैध धनराशि के लेनदेन की वार्ता का ऑडियो रिकॉर्डिंग भी सुनाई गई है। प्रथम दृष्टया आरोप सिद्ध होने के चलते जांचकर्ता द्वारा ग्राम पंचायत रायपुर के तत्कालीन ग्राम विकास अधिकारी अनिल कुमार वर्मा के विरुद्ध कार्यवाही की संस्तुति की गई। जिसके आधार पर जिलाधिकारी द्वारा तत्काल निलंबन के साथ ही कठोर अनुशासनात्मक कार्यवाही के आदेश जारी कर दिए हैं।